भारतीय समाजशास्त्री जी.एस. घूर्ये (गोविंद सदाशिव घूर्ये) का जीवन 

जी.एस. घूर्ये (गोविंद सदाशिव घूर्ये)

जी.एस. घूर्ये (गोविंद सदाशिव घूर्ये) सिंधुदुर्ग जिले के मालवन के मूल निवासी हैं और इंटर तक की उनकी शिक्षा जूनागढ़ में हुई थी. वर्ष 1918 में उन्होंने संस्कृत और एम. ए._ उत्तीर्ण। उनके पास बी. ऐ. भाऊ दाजी पुरस्कार और गंगादास कालिदास छात्रवृत्ति परीक्षा में प्राप्त हुई थी। बाद में वे एल्फिंस्टन कॉलेज में साउथ फेलो थे। एम. ए. उन्हें चांसलर मेडल, भगवानदास पुरुषोत्तमदास और सर लॉरेंस जेकिन्स स्कॉलरशिप से सम्मानित किया गया। बाद में उन्हें स्प्रिंगर रिसर्च स्कॉलरशिप और भगवानदास मूलजी पुरस्कार मिला।

बचत कैसे करें ? इन छोटी-छोटी बातों को ध्यान में रखकर आप कर सकते हैं महीनों में हजारों की बचत

बचत कैसे करें

आज हम बात करने जा रहे हैं हर घर की समस्या के बारे में जो है बचत (बचत कैसे करें?) आज के दौर में हम बात करें तो कमा तो हर व्यक्ति रहा है लेकिन उस उस कमाई में से एक पैसा भी नहीं बचा पा रहा है किसी भी व्यक्ति के लिए सबसे अहम फैक्ट कि वह कमा कितना रहा है लेकिन उससे भी बढ़कर एक और बात सामने हमारे आती है की वह बचा कितना रहा है कहीं ना कहीं हमारा पैसा फालतू खर्च हो ही जाता है जो नॉर्मल ही नहीं होना चाहिए लेकिन हम उसे नहीं रोक पा रहे है। सब सोचते है बचत कैसे करें, और कहाँ करें।